INVESTMENT-SAVING-NEWS

Best Return Debt Funds : एफडी को मात देने वाले बेस्ट डेट फंड, 1 साल में 11% से ज्यादा रिटर्न, SBI, HDFC जैसे टॉप AMC की स्कीम शामिल

Follow Us Bank FD vs Debt Fund Returns : लॉन्ग ड्यूरेशन डेट फंड्स ने पिछले 1 साल में एफडी से बेहतर रिटर्न दिए हैं. (Image : Pixabay) FD vs Debt Fund Returns : जो लोग इक्विटी मार्केट में इनवेस्टमेंट का रिस्क नहीं लेना चाहते या स्टेबल रिटर्न की तलाश में हैं, वे आम तौर पर बैंक एफडी का रुख करते हैं. लेकिन 1 साल के फिक्स्ड डिपॉजिट पर मिलने वाली ब्याज दरें काफी कम रहती हैं. प्रमुख बैंक एक साल की एफडी पर आमतौर पर 7 फीसदी से ज्यादा ब्याज नहीं देते. छोटे शिड्यूल्ड बैंकों में भी 1 साल के एफडी पर 8-8.50 फीसदी से ज्यादा इंटरेस्ट नहीं मिलता है. ऐसे में स्टेबल इनकम पाने का एक विकल्प डेट फंड भी है. आंकड़े बताते हैं कि पिछले एक साल में लॉन्ग ड्यूरेशन डेट फंड ने बैंक एफडी को मात देने वाले रिटर्न दिए हैं. सेबी की परिभाषा के मुताबिक लॉन्ग ड्यूरेशन डेट फंड (Long Duration Debt Fund) के पोर्टफोलियो में डेट और मनी मार्केट इंस्ट्रूमेंट्स शामिल होते हैं. इन फंड्स के लिए पोर्टफोलियो की मैकॉले ड्यूरेशन 7 साल से ज्यादा होना जरूरी है. मैकॉले ड्यूरेशन उस समय या अवधि को कहते हैं, जो किसी बॉन्ड में किए गए शुरुआती निवेश को उससे मिलने वाले कैश फ्लो यानी रिटर्न के जरिये रीपे (repay) करने या चुकाने में लगता है. आसान शब्दों में कहें तो लॉन्ग ड्यूरेशन डेट फंड के पोर्टफोलियो में ज्यादातर लॉन्ग टर्म मेच्योरिटी वाले डेट एसेट्स शामिल होते हैं. Also read : High Return Investment : इस स्कीम ने 5 साल में 3 गुना किए पैसे, लॉन्च से अब तक 4346% एब्सोल्यूट रिटर्न, 1 लाख के हो गए 44 लाख पिछले 1 साल में लॉन्ग ड्यूरेशन डेट फंड्स के रिटर्न बैंक एफडी की तुलना में काफी बेहतर रहे हैं. लॉन्ग ड्यूरेशन डेट फंड्स की कैटेगरी में आने वाली सभी स्कीम्स ने पिछले 1 साल में आम तौर पर बैंक एफडी से ज्यादा रिटर्न दिया है, जबकि टॉप 5 फंड्स का 1 साल का रिटर्न 11 फीसदी या उससे अधिक रहा है. टॉप 5 लॉन्ग ड्यूरेशन डेट फंड्स का 1 साल का रिटर्न आप यहां देख सकते हैं. 1 साल में फंड का रिटर्न : 11.39% 1 साल में बेंचमार्क का रिटर्न : 9.50% एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM): 9,308.07 करोड़ रुपये 1 साल में फंड का रिटर्न : 11.36% 1 साल में बेंचमार्क का रिटर्न : 10.95% एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM): 5,596.01 करोड़ रुपये 1 साल में फंड का रिटर्न : 11.33% 1 साल में बेंचमार्क का रिटर्न : 9.50% एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM): 2,765.60 करोड़ रुपये Also read : Mutual Fund Champions: लार्ज एंड मिड कैप फंड के 11 चैम्पियन, 1 साल में कराई 51% तक कमाई, क्या आपने किया है निवेश? 1 साल में फंड का रिटर्न : 11.16% 1 साल में बेंचमार्क का रिटर्न : 10.95% एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM): 522.39 करोड़ रुपये 1 साल में फंड का रिटर्न : 11.10% 1 साल में बेंचमार्क का रिटर्न : 10.95% एसेट अंडर मैनेजमेंट (AUM): 155.10 करोड़ रुपये (Source : AMFI) Also read : SME IPO : 10 करोड़ के आईपीओ पर 14,385 करोड़ के एप्लीकेशन ! 2200 गुना से ज्यादा ओवर-सब्सक्राइब हुआ NACDAC इंफ्रा का इश्यू ऊपर जिन टॉप 5 फंड्स का डिटेल हमने दिया है, उनके अलावा लॉन्ग ड्यूरेशन डेट फंड की कैटेगरी में एसोसिएशन ऑफ म्यूचुअल फंड्स इन इंडिया (AMFI) की वेबसाइट पर दो और फंड्स का डिटेल उपलब्ध है. ये फंड हैं UTI Long Duration Fund और ICICI Prudential Long Term Bond Fund. AMFI के आंकड़ों के मुताबिक पिछले 1 साल में UTI लॉन्ग ड्यूरेशन फंड के डायरेक्ट प्लान ने पिछले 1 साल में 10.87% और ICICI प्रू लॉन्ग टर्म बॉन्ड फंड के डायरेक्ट प्लान ने 10.47% रिटर्न दिया है. ये रिटर्न भी आम तौर पर बैंक एफडी पर 1 साल की अवधि के लिए मिलने वाले ब्याज से काफी बेहतर हैं. Also read : Best Multi Cap Funds in 2024: मल्टी कैप के लिए शानदार रहा यह साल, टॉप 9 फंड्स ने दिया 30% से 38% तक रिटर्न, टॉपर बनी ये स्कीम सभी लॉन्ग ड्यूरेशन डेट फंड्स का रिस्क लेवल मॉडरेट (Moderate) है, जिससे पता चलता है कि इनमें निवेश करना तुलनात्मक रूप से कम जोखिम भरा है. ऊपर दिए सभी आंकड़े डायरेक्ट प्लान के हैं. रेगुलर प्लान का रिटर्न इनकी तुलना में थोड़ा कम रहता है. इन फंड्स के दो बेंचमार्क इंडेक्स है 1. NIFTY Long Duration Debt A-III Index, जिसका 1 साल का रिटर्न 10.95% है और 2. CRISIL Long Duration Debt A-III Index, जिसका 1 साल का रिटर्न 9.50% है. यानी अधिकांश लॉन्ग ड्यूरेशन डेट फंड्स ने पिछले 1 साल में बेंचमार्क से बेहतर रिटर्न दिए हैं. मॉडरेट रिस्क और निवेश की अवधि में फ्लेक्सिबिलिटी को ध्यान में रखते हुए इन्हें कुल मिलाकर डेट में निवेश का एक आकर्षक विकल्प कहा जा सकता है. (डिस्क्लेमर: इस लेख का मकसद सिर्फ जानकारी देना है, निवेश की सलाह देना नहीं. म्यूचुअल फंड का पिछला रिटर्न भविष्य में भी जारी रहने की गारंटी नहीं होती. निवेश से जुड़े फैसले अपने इनवेस्टमेंट एडवाइजर की सलाह लेकर ही करें.) None

About Us

Get our latest news in multiple languages with just one click. We are using highly optimized algorithms to bring you hoax-free news from various sources in India.